Book Name:Iman Ki Salamti
پ۲۲،الاحزاب،تحت الآیۃ:۵۶،۶/۶۵۴ملخصًا) ٭ दुरूदे पाक गुनाहों का कफ़्फ़ारा (गुनाहों को धोने वाला) है । (جلاء الافہام،ص۲۳۴) ٭ दुरूदे पाक सदके़ का क़ाइम मक़ाम बल्कि सदके़ से भी अफ़्ज़ल है । (جذبُ القلوب،ص۲۲۹) ٭ दुरूद शरीफ़ पढ़ने से मुसीबतें टलती हैं । ٭ दुरूदे पाक पढ़ने से बीमारियों से शिफ़ा ह़ासिल होती है । ٭ दुरूदे पाक पढ़ने से ख़ौफ़ दूर होता है । ٭ दुरूदे पाक पढ़ने से ज़ुल्म से नजात ह़ासिल होती है । ٭ दुरूदे पाक पढ़ने से दुश्मनों पर फ़त्ह़ ह़ासिल होती है । ٭ दुरूदे पाक पढ़ने से क़ियामत की हौलनाकियों से नजात ह़ासिल होती है । ٭ दुरूदे पाक पढ़ने से मौत की तक्लीफ़ों में आसानी होती है । ٭ दुरूदे पाक पढ़ना से दुन्या की तबाहकारियों से नजात मिलती है । ٭ दुरूदे पाक पढ़ने से ग़ुर्बत दूर होती है और ٭ दुरूदे पाक पढ़ने से भूली हुई चीज़ें याद आ जाती हैं । (جذبُ القلوب،ص۲۲۹)
صَلُّوْا عَلَی الْحَبِیْب! صَلَّی اللّٰہُ عَلٰی مُحَمَّد