Hirs kay Nuqsanaat or Qana_at ki Barkaat

Book Name:Hirs kay Nuqsanaat or Qana_at ki Barkaat

उठाते हैं और शरई़ ह़ुदूद व क़वानीन से तजावुज़ करते हुवे न सिर्फ़ ख़ियानत करते हैं बल्कि अल्लाह पाक की नाराज़ी और मख़्लूके़ ख़ुदा की दिल शिकनी का सबब भी बनते हैं, ऐसों को अल्लाह पाक की ख़ुफ़्या तदबीर से हरगिज़ बे ख़ौफ़ नहीं रहना चाहिये ।

صَلُّوْا عَلَی الْحَبِیْب!        صَلَّی اللّٰہُ تَعَالٰی عَلٰی مُحَمَّد

12 मदनी कामों में से एक मदनी काम

"मदनी मुज़ाकरा"

        मीठे मीठे इस्लामी भाइयो ! दुन्यवी माल की ह़िर्स और शोहरत व मन्सब की मह़ब्बत दिल से निकाल कर अपने अन्दर आख़िरत की तय्यारी की फ़िक्र पैदा करने के लिये आशिक़ाने रसूल की मदनी तह़रीक दावते इस्लामी के मदनी माह़ोल से वाबस्ता हो जाइये और नेकी की दावत आम करने के लिये ज़ैली ह़ल्क़े के 12 मदनी कामों में बढ़ चढ़ कर ह़िस्सा लीजिये । 12 मदनी कामों में से एक मदनी काम "हफ़्तावार मदनी मुज़ाकरे" में शिर्कत करना भी है । इस मदनी काम के बे शुमार दीनी व दुन्यवी फ़वाइद हैं, मसलन ( मदनी मुज़ाकरे की बरकत से गुनाहों से बचने का ज़ेह्न मिलता है । ٭ मदनी मुज़ाकरे की बरकत से इ़ल्मे दीन ह़ासिल होता है । ٭ मदनी मुज़ाकरे की बरकत से दीनी मालूमात के साथ साथ अख़्लाक़ी तरबिय्यत भी नसीब होती है । ٭ मदनी मुज़ाकरे की बरकत से उम्मते मुस्लिमा की ख़ैर ख़्वाही का जज़्बा नसीब होता है । ٭ मदनी मुज़ाकरे की बरकत से आशिक़ाने रसूल की सोह़बत नसीब होती है । आइये ! बत़ौरे तरग़ीब एक मदनी बहार सुनिये और मदनी मुज़ाकरे में शिर्कत करने की निय्यत कीजिये । चुनान्चे,

गुनाहों से तौबा नसीब हो गई

        मुल्के मुर्शिद के एक इस्लामी भाई बहुत से नौजवानों की त़रह़ कई अख़्लाक़ी बुराइयों में मुब्तला थे । फ़िल्में, ड्रामे देखना और खेल, कूद में वक़्त बरबाद करना उन का पसन्दीदा मश्ग़ला था । घर में मदनी चेनल चलने की